राष्ट्र निर्माण और युवा शक्ति | Rashtr Nirmaan aur yuva shakti
राष्ट्र निर्माण और युवा शक्ति
राष्ट्र निर्माण और युवा शक्ति : युवा राष्ट्र का संरचनात्मक और कार्यात्मक ढांचा है। हर राष्ट्र की सफलता का आधार उसकी युवा पीढ़ी और उनकी उपलब्धियाँ होती हैं। राष्ट्र का भविष्य युवाओं के सर्वांगीण विकास में निहित है। इसलिए युवा राष्ट्रनिर्माण में सर्वोच्च भूमिका निभाते हैं।
परिचय
युवाओं में समाज का वह क्षेत्र शामिल है, जो अभी तक विकासशीलता की खिलती हुई कली हैं और एक राष्ट्र के लिए भाग्य परिवर्तक हैं। यह बचपन से वयस्क बनने तक के बीच का चरण है। हर व्यक्ति जीवन के इस दौर से गुजरता है। यदि इस वक़्त का सही से उपयोग किया जाए तो यह चरण वास्तव में रोमांचक साबित होता है, जो कुछ नया करने के लिए अतिरिक्त इच्छा से भरा होता है।
युवा और राष्ट्र निर्माण
किसी देश में रहने वाले लोग राष्ट्र के विकास और प्रगति के लिए स्वयं जिम्मेदार होते हैं। किसी भी राष्ट्र में कुल जनसंख्या का 20-30 प्रतिशत हिस्सा युवा होते हैं। कामकाजी लोग और विशेष रूप से युवा किसी भी राष्ट्र की प्रगति तय करते हैं। राष्ट्र की प्रगति कई उपायों से तय होती है, अर्थात् विज्ञान, प्रौद्योगिकी, स्वास्थ्य, प्रबंधन और अन्य में विकास के द्वारा। इन सभी मानदंडों को पूरा करने के लिए सामाजिक, शैक्षणिक और आर्थिक आधार पर युवा सशक्तीकरण के द्वारा ही संभव है।
इन सभी क्षेत्रों में सफलता पाने के लिए युवाओं को एक सकारात्मक दिशा में निर्देशित किया जाना चाहिए। युवाओं के विकास और प्रशिक्षण पर ध्यान दिया जाना चाहिए। युवाओं को उचित शिक्षा और कौशल विकास की आवश्यकता है ताकि वे सही दिशा में समृद्ध हो सकें। युवा में काम करने की क्षमता होती है और वह उत्साह से भरा होता है और सफलता की ओर अग्रसर होने का उसमे जोश होता है।
युवा : राष्ट्र की रीड की हड्डी
युवा हर कार्य को जिम्मेदारी से पूर्ण करने के योग्य होते है।पर युवाओ की संख्या कम होते के कारण युवाओ का इतना प्रभाव दिखाई नहीं दे रहा है।जितना फ़्रांस जैसे देशो में दिखता है। युवा मिलकर हर समस्या का समाधान निकाल सकते है।इसलिए तो इन्हें राष्ट्र की रीड की हड्डी मानते है।
आज के अधिकांश युवा शिक्षित है। जो अपनी शिक्षा,बल तथा बुद्धि के बल पर देश की उन्नति करने में समर्थ है। पर सभी बेरोजगार होने के कारण ऐसे कार्य करते है जो अनपढ़ लोग करते है। जैसे- फैक्ट्री में कार्य, पहाड़ो की कटाई आदि। क्योकि उन्हें रोजगार की जरुरत होती है।
कई युवा ऐसे भी है।जो अत्यधिक श्रम नहीं करना चाहते है।इसलिए आज भी हमारे देश के अधिकांश शिक्षित युवा बेरोजगार है। युवा रोजगार के लिए प्रत्येक कार्य करने के लिए तैयार है। इसलिए युवा लोग स्वनिर्मित वस्तुओ का निर्माण भी कर सकते है। इस प्रकार देश को आत्मनिर्भर बनाने में युवा महत्वपूर्ण भूमिका निभाते है।
युवा और बेरोज़गारी की समस्या
देश की उन्नति के लिए युवाओ की ओर ध्यान देना होगा। सभी युवाओ को ऐसा कार्य करवाए जाए जिसके परिणाम स्वरूप हमारे देश को लाभ हो तथा युवाओ को रोजगार मिल सकें।
हमारे पास करोडो की संख्या में बेरोजगार होने के बाद भी हम दुसरे देशो से वस्तुए खरीदते है तथा उन्हें टेक्स देते है। सरकार उन टेक्स से इन वस्तुओ का निर्माण किया जा सकता है। तो फिर विदेशो से इस बोझ को खरीदने की क्या जरुरत है।
आज के युवा अपनी शिक्षा से हर कार्य को आसानी से करने में सक्षम है। इसलिए बेरोजगारों को रोजगार प्रदान कर भारत में ही वस्तुओ का निर्माण किया जाए। जिससे बेरोजगार युवा भी रोजगार प्राप्त कर सकेंगे तथा दुसरे देशो की गुलामी के साथ साथ आर्थिक बचत भी होगी।
रोजगार युक्त युवा आत्मनिर्भर भारत की नीव
युवा रोजगार के लिए उत्साहित है। इस पर ध्यान देने क जरुरत है।युवाओ को रोजगार प्रदान कर उन्हें एक उचित जीवन जीने का अवसर प्रदान कराया जाए। जब युवा रोजगार से लाभान्वित होंगे तभी युवा देश के निर्माण में सहयोग कर सकेंगे।वर्ना खुद का पेट पालना भी मुश्किल हो जाएगा।
युवाओं की शक्ति
इतिहास के युवाओ की शक्ति का प्रभाव देखा जाता है।जिस कार्य में युवा अपना सक्रीय योगदान देते है।उस कार्य में विजय हमेशा हमारी ही होती है। उदाहारण के तौर पर भारत की आजादी में अनेक युवाओ ने अपना सहयोग दिया तथा कई युवाओ ने बलिदान तक दिया। जिसके परिणाम स्वरूप हमारा देश ब्रिटिश सरकार को भागने में कामयाब हुआ।
युवाओ ने इस प्रकार ने अनेक ऐतिहासिक बदलाव किये है।युवा अपने तन,मन से समर्पण की भावना से हर कार्य को करते है।इसलिए हमें जरुरत है।कि युवाओ को विकास के पथ पर प्रयोग में लाया जाए।जिससे देश का विकास भी किया जा सकें।तथा युवाओ की प्रतिभाओ की पहचान भी की जा सकें।
एक शिक्षित युवा अपनी सम्पूर्ण शिक्षा के दौरान देश के के विकास के बारे में पढता है।और देश का विकास ही अपना लक्ष्य बनाता है। पर जब शिक्षा पूर्ण करने के बाद देश सेवा का अवसर नहीं मिलता है तो खामोश होना पड़ता है। इसलिए इत्सुको को अवसर प्रदान किये जाए।
युवा शक्ति के गुण
- युवाओ में बचपन से देशभक्ति कूट-कूट कर भरी होती है।
- युवा हर कार्य को करने को सक्षम होते है।
- रचनात्मक बदलाव लाने की क्षमता
- एकता की मिशाल
- बेहतर विचार शक्ति
- सकारात्मक सोच
- समानता की अवधारणा
निष्कर्ष
हमारे राष्ट्र निर्माण में युवा महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे है। इसलिए हमें भी युवाओ का सहयोग करना चाहिए।युवाओ को अवसर प्रदान करने चाहिए तथा उनके विकास के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाने चाहिए। युवाओ को विशेष अवसर प्रदान कर उनकी प्रतिभा तथा क्षमता का प्रयोग किया जाना चाहिए।
युवाओ को हर परस्थिति में मजबूत बनाना तथा हर कार्य करने में निपुण बनाना जिससे युवा शक्ति किसी भी कार्य को करने में असक्षम न हो। राष्ट्र निमार्ण में युवाओ के साथ मिलकर उनका सहयोग करें तथा देश के निर्माण में अपनी भूमिका निभाएं।
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